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रिपोर्ट के विभिन्न प्रकारमोबीलाइज़र के लिएद्वारा फिल बार्टेल, PhDअनुवादित द्वाराएक गाइडभाग सी: रिपोर्ट कैसे लिखे यह दिशानिर्देश इस तरह लिखे गए है की कोई भी फील्ड के कर्मचारी, जो परियोजना में बहार की फंडिंग में काम कर रहे है, उनके काम आ सके अवं स्थानीय समुदाय को प्रोत्साहित कर से अपने विकास के प्रबंधन के लिए. विभिन्न उद्देश्य; विभिन्न तरह की रिपोर्ट हमने यह देखा है की मोबिलीज़ेर के उद्देश्य सामुदायिक प्रयोजना के उद्देश्यों से अलग होते है. इसका मतलब है को उनकी रिपोर्ट भी अलग होंगी, क्यूंकि अच्छी रिपोर्ट का सार यह है की वेह तुलना करती है उन परिणाम का जो पाए गए है उन परिणामो से जिनकी इच्छा की गयी थी. सामान्य रिपोर्ट एक अधिभावी सिद्धांत, जिसे आप हर रिपोर्ट में शामिल करने के कोशिश करें है की, अपनी गतिविधिओ के परिणामो को भी रिपोर्ट में जोड़े. ऐसा करने के लिए आवश्यकता है की आप खुद कुछ विश्लेषण करें न की सिर्फ अपने कार्य का विवरण दे. आप एक ऐसी परियोजना में काम कर रहे है जिसमे कई डोनर है, अवं बीच में एक ऐसी संस्था है जिसे फील्ड में हो रही कुछ विशिष्ट चीजो की जानकारी देना अनिवार्य है. आपकी रिपोर्ट ही एक ऐसा मार्ग है, जिससे की डोनर यह फैसला लेते है की आगे परियोजना में कितना पैसा देना है. हर अलग रिपोर्ट की पहचान अलग होनी चाहिए. शुरुआत में ही मुख्य पहचानकर्ता होते है, जिसमे शामिल होता है रिपोर्ट का शीर्षक (अवधि और स्थान रिपोर्ट के बहरी पुष्ट में) तथा लेखक. रिपोर्ट के अंत में कुछ पहचानकर्ता होते है, जो हर रिपोर्ट में होने चाहिए. हर रिपोर्ट में निम्नलिखित होने चाहिए:
हर रिपोर्ट में कुछ महत्वपूर्ण तत्व होते है. रिपोर्ट के पांच प्रकार होते है जो की मोबिलीज़ेर को पता होनी चाहिए. हर रिपोर्ट एक दुसरे से भिन्न होती है.
नीचे हर रिपोर्ट की व्याख्या की गयी है. मासिक प्रगति रिपोर्ट निम्नलिखित व्याख्या करते है किसी भी प्रगति रिपोर्ट की: मासिक, द्विमासिक, त्रैमासिक, द्विवार्षिक अवं वाषिक. प्रगति रिपोर्ट स्थिति रिपोर्ट से अलग होती है, क्यूंकि स्तिथि रिपोर्ट केवल यह बयाँ करती है ही क्या क्या हुआ है, और क्या किया गया है उस रिपोर्टिंग के अवधि के दौरान. प्रगति रिपोर्ट, इसके विपरीत, गतिविधिओ को सम्बंधित करती है उद्देश्यों से. किसी भी परियोजना की जानकारी के लिए सबसे महत्वपूर्ण रिपोर्ट होती है मासिक प्रगति रिपोर्ट, अगर वेह ठीक तरीके से बनायीं जाए. डोनर, संस्था का मुख्यालय, लक्ष्य समूह के नेता, अथवा मॉनिटरिंग करने वाली संस्था, सब को यह मालुम करना होता है की किन गतिविधिओ से परियोजना के उद्देश्यों को प्राप्त किया गया है.
हालाँकि, प्रगति रिपोर्ट अलग हो सकती है अलग फॉर्मेट की वजह से, पर यह भेद बनाये रखना जरूरी है. अपनी रिपोर्ट की रचना दो मुख्य शीर्षक से करे १) गतिविधि, और २) परिणाम, या, हर परियोजना के उद्देश्य के लिए, एक भाग शामिल कीजिये १) गतिविधि का अवं २) इन गतिविधि के परिणामो का. नए कार्यकर्ताओ से जो आम गलती होती है, वह यह है की वेह रिपोर्ट में सिर्फ अपनी गतिविधिओ को डालते है. ऐसा नहीं करना चाहिए. एक अच्छी प्रगति रिपोर्ट केवल वर्णनात्मक गतिविधि रिपोर्ट नहीं है. यह रिपोर्ट में गतिविधिओ द्वारा पाए गए परिणामो की विश्लेषण होना चाहिए. विश्लेषण से इस सवाल का जवाब मिलना चाहिए, "परियोजना के उद्देश्य को कितना प्राप्त कर लिया गया है?" च्यूंकि आप नए नहीं है, आप को अपनी गतिविधिओ का विवरण के आगे जाके यह प्रगति रिपोर्ट बनानी चाहिए. किसी भी प्रगति रिपोर्ट को लिखने से पहले परियोजना के उद्देश्यों की समीक्षा जरूर करले. आमतौर पे यह "परियोजना दस्तावेज" में मौजूद होते है. अनपी रिपोर्ट में विश्लेषण करते समय, आप इन उद्देश्यों की सूचि बना सकते है, हर किसी को एक नए भाग में बाँट कर और काया शीर्षक दे कर. अपने विश्लेषण में आप यह लिख सकते है की आपने हर उद्देश्य को कितना हासिल कर लिया है. यदि कोई उद्देश्य को आपने कम या ज्यादा पूरा किया है, तो आपको उसका कारन भी रिपोर्ट में लिखना होगा. कम्युनिटी परियोजना रिपोर्ट यह एक विस्तृत रिपोर्ट है हो कार्य का वर्णन करती है. इसमें हर उद्देश्य के बारे में लिखा होना चाहिए, की आप उन्हें कितना प्राप्त कर पाने में सफल रहे, यदि कोई कारण है इन उद्देश्यों को पूरा न कर पाने का, यही कोई सबक सीखा गया है, और कोई सुझाव अवं कारण किसी उद्देश्य को बदलने के लिए. इस रिपोर्ट में जानकारी हो सकती है सभी घटनाओ की अवं सभी कार्य जो किये गए है (नीचे देखिये), बुत ज्यादा जोर देना चाहिए परिणामो के ऊपर (किन कार्य की वजह से क्या परिणाम मिले है). लाभार्थियों की संख्या और स्थान पर ज्यादा ध्यान देना चाहिए. मासिक रिपोर्ट को उन भागो में बांटना चाहिए जो भाग प्रस्ताव में मौजूद थे. इस तरह वित्तीय रिपोर्टिंग भी होती है. विस्तृत मासिक वित्तीय रिपोर्ट में यह ल्लिखना चाहिए की कितना पैसा कहाँ से मिला. (१) कितना पैसा खर्च हुआ, बजट की श्रेणी के हिस्साब से बटा हुआ. साथ ही ज्यादा, या कम, खर्च करने के कारण, और एक मुल्यांकन की कितनी अच्छी तरह से खर्ची गे रकम दिए गए उद्देश्य को पाने में सक्षम रही. फुटनोट (१) : हम यह अनुग्रय करते है की सी.बी.ओ. को पैसा कई सोत्रों से मिलना चाहिए, तथा किसी भी एक सोत्र पर निर्भर नहीं होना चाहिए. मोबीलाइज़र नियमित रिपोर्ट सामुदायिक परियोजना रिपोर्ट अवं सामुदायिक मोबिलीज़ेर रिपोर्ट के बीच में अंतर देखिये और याद रखिये की दोनों के लक्ष्य अलग है. सामुदायिक परियोजना रिपोर्ट सरल होनी चाहिए, जैसे की "विधालय के निर्माण के लिए" अथवा "पानी की आपूर्ति के पुनर्वास के लिए". मोबिलीज़ेर के लक्ष्य क्या है (प्रगति की रिपोर्ट के लिए)? मोबिलीज़ेर का लक्ष्य सामुदायिक परियोजना के लक्ष्य से अलग है. इसलिए, प्रगति की रिपोर्ट भी अलग होगी. आसान शब्दों में, मोबिलीज़ेर के कार्य का वांछित परिणाम है की यह समुदाय को जुटा सके. मोबिलीज़ेर का कार्य सिर्फ यही है, और इसमें शामिल है कई तत्व (जैसे समुदाय में एकता बढाना, सीमांत और कमजोर समूह की भागीदारी सुनश्चित करना, समुदाय की प्राथमिकताओ को तय करना, प्रशिक्षण देना, उनका हौसला बढाना इत्यादि) (२) फ़ुटनोट (2): इस व्यवधान में तीन तत्व है: (१) जागरूकता बडाना, उसके बाद (२) मोबिलाइज़ करना , उसके बाद (३) प्रबंधन का प्रशिक्षण. समुदाय का प्रशिक्षण 'पारदर्शी जवाबदेही' के लिए लोगो को जागरूक करता है. यह मदद करता है लोगो को यह देखने में की संसाधनों का प्रयोग केवल परियोजना के लिए ही हो रहा है. उसके बाद प्रशिक्षण में उन्हें सिखाया जाता है की 'पारदर्शी जवाबदेही' कैसे बनायीं जाए, खाते सही से कैसे रखे जाए, रसीद और खातो को कैसे जोड़ा जाता है, सही वित्तीय खाते कैसे बनते है. नीचे बने हुए सांचे से आप मोबिलीज़ेर के लक्ष्य और मोबिलीज़ेर की रिपोर्ट में सम्बन्ध कायम कर सकते है. |
तालिका २: मोबिलीज़ेर के लक्ष्यों पर रिपोर्टिंग |
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वांछित परिणाम | किये गए कार्य | प्रतिशत हासिल किया गया | कारण क्यूँ | प्रभावित करने वाले कारण | बाधा |
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समुदाय को एक जुट करे | लाभ समझाने के लिए बैठक; कार्येशाला | अनुमान लगाये और वर्णन कीजिये | कितना तयार है समुदाय? कितना कौसल है मोबिलीज़ेर? | जागरूकता का स्तर, बैठक के लिए सुविधाए, शिक्षा | सामाजिक विघटन, गुट, कौशल की कमी |
समुदाय की मदद करे अपने आप को आंकने में. | मूल्यांकन के बारे में प्रशिक्षण | " | कितना तयार है समुदाय? कितना कौसल है मोबिलीज़ेर? | " | " |
समुदाय की मदद कीजिये उनकी प्राथमिक समस्याओ को निर्धारित करने के लिए. | प्राथमिकता निर्धारित करने के लिए बैठक. | " | कितना तयार है समुदाय? कितना कौसल है मोबिलीज़ेर? | " | " |
समुदाय की मदद कीजिये उसके लक्ष्य परिभाषित करने में, और उसके उद्देश्यों को परिष्कृत करने में. | प्रबंधन प्रशिक्षण; मंथन | " | कितना तयार है समुदाय? कितना कौसल है मोबिलीज़ेर? | " | " |
समुदाय की मदद करे उनके संसाधनों को पहचानने में | मंथन सत्र | " | कितना तयार है समुदाय? कितना कौसल है मोबिलीज़ेर? | " | " |
समुदाय की मदद कीजिये रणनीति बनाने में, और उनमे से एक को चुनिए | मंथन सत्र | " | कितना तयार है समुदाय? कितना कौसल है मोबिलीज़ेर? | " | " |
समुदाय की मदद कीजिय कार्यकारी समिति (सी.बी.ओ) के गठन में | संगठनात्मक बैठक (चुनाव या आम सहमति | " | कितना तयार है समुदाय? कितना कौसल है मोबिलीज़ेर? | " | " |
आदि | आदि | आदि | आदि | आदि | आदि |
विषय - सूची:विषय - सूची: |
अन्य जानकारी के लिए, "समुदाय के सशक्तिकरण के तत्वों की सूची" को संदर्भित करे समुदाय के सशक्तिकरण के तत्व, उनमें से प्रत्येक में परिवर्तन को मापने के तरीके समुदाय के सशक्तिकरण को मापना . फील्ड ट्रिप रिपोर्ट आप चाहे तो अपनी मासिक रिपोर्ट में फील्ड ट्रिप की सूचि दाल सकते है, पर सारी प्रमुख फील्ड ट्रिप की जानकारी अलग फील्ड ट्रिप की रिपोर्ट में लिखने चाहिए. एक फील्ड ट्रिप का एक उद्देश्य होता है, इसलिए आपकी रिपोर्ट के शुरुआत में यह उद्देश्य लिखा होना चाहिए. आपकी फील्ड ट्रिप इस उद्देश्य से समर्थन मिलना चाहिए, भले ही आप उस ट्रिप में लक्ष्य को हासिल न कर पाए हो. फील्ड ट्रिप का उद्देश्य परियोजना के उद्देश्य से मेल खाना चाहिए. तकनिकी जानकारी व्यवस्थित तरीके से लिखी जा सकती है, तारीख और यात्रा का स्थान, किन व्यक्तिओ से मुलाकात हुई (उनके शिर्शन, संस्थानों के नाम, बैठक का समय, जगह इत्यादि) देखि गयी जगह, बैठक जिनमे भाग लिया गया. अपनी सूचि को सरल बनाये ताकि यह आसानी से पड़ी और समझी जाए. इसे छोटी पर पूरी बनाये. फील्ड ट्रिप की रिपोर्ट को जोर देना चाहिए ट्रिप के परिणाम पर. क्या आप अपने प्रयोजन को हासिल कर पाए? किस हद तक? क्या अप्रत्याशित अवलोकन आपने आपने देखे? इनका क्या परिणाम हुआ? क्या आपने पिछली गतिविधिओ के परिणामो का अवलोकन किया. क्या कोई परियोजना के उद्देश्य को बदलने की ज़रुरत है? क्या आपने कोई नयी समस्या पहचानी? क्या आप किसी नए निष्कर्ष पर पहुंचे, अकेले या लोगो के साथ चर्चा के बाद. सुनिश्चित करे की आप किस हद तक अपनी ट्रिप के उद्देश्य को हासिल कर पाए, यह बयान करे. बैठक की रिपोर्ट सभी बैठक का उद्देश्य होना चाहिए, और यह उद्देश्य परियोजना के उद्देश्य को हासिल करना चाहिए. बैठक की रिपोर्ट, इसलिए, को ध्यान देना चाहिए उद्देश्य पर और सूचित करना चाहिए बैठक के परिणामो का, उन परियोजनाओ को पूरा करने की तरफ. देखिये बैठक. इन्ही बैठक की रिपोर्ट में आप गुमराह हो जाते है कर्मवाच्य का इस्तेमाल करके. कुछ वाक्यों से बचे जैसे "यह कहा गया था की...." या "यह कहा गया..." सक्रिय आवाज का प्रयोग करे यह कहकर किसने क्या कहा जैसे " पूरा समूह (सिवाय मिस कापिया के) सहमत था ..." लिखित रिपोर्ट की तयारी मूल प्रबंधन कौशल प्रशिक्षण का हिस्सा है. रिपोर्ट का उत्पादन और वितरण प्रस्ताव और अनुबंध में शामिल होना चाहिए. कार्यशाला रिपोर्ट सामुदायिक परियोजना रिपोर्ट और मोबिलीज़ेर की फील्ड में गतिविधि की रिपोर्ट की तरह, कार्येशाला की रिपोर्ट भी बहुमूल्य है. प्रत्येक कार्येशाला के बाद, समन्वयक (अन्य फेसिलिटेटर की मदद से, और मुख्य प्रशिक्षण द्वारा लिखित रिपोर्ट से) को रिपोर्ट लिखनी चाहिए. रिपोर्ट में उन गतिविधिओ की सूचि नहीं होनी चाहिए जो हुई है. हर रिपोर्ट विश्लेषणात्मक होनी चाहिए, और केन्द्रित होनी चाहिए पतिविधियो के परिणामो की ओर. सभी रिपोर्ट की तरह, यह रिपोर्ट किसी गतिविधिओ की सूचि के साथ समाप्त नहीं होती चाहिए, पर गतिविधिओ के परिणाम को सूचित करनी चाहिए (कितने हद तक वांछित पर्निआम को हासिल किया गया) ओर क्या सीखा गया (कार्येशाला के आयोजन द्वारा, न की कार्येशाला में हुई गतिविधिओ द्वारा) देखिये: कार्यशाला की तैयारी. क्या विषयों को शामिल किया जाना चाहिए? फिर से, मोबिलीज़ेर के साथ हुई अनेक कर्येशालाओ में, मैंने प्रतिभागियो से पूछा की किन विषयों को सामुदायिक परियोजना की रिपोर्ट में शामिल करना चाहिए. अधिकांश समूहों के निम्नलिखित की पेशकश की:
यह अच्छी सूचि का रूप बन गया है, और आप इसका इस्तेमाल किसी भी रिपोर्ट की समीक्षा करने के लिए कर सकते है, या समुदाय को सिखाने के लिए प्रयोग कर सकते है. लेकिन, याद रखे हर रिपोर्ट में तुलना होनी चाहिए की क्या अपेक्षित था ओर क्या हासिल हुआ है. जोर दीजिये कार्य के परिणामो पर, न केवल कार्य के विवरण के ऊपर. रिपोर्ट के आदर्श स्वरूप के लिए, जो यह सूचित करे हर विषय को कहाँ लिखना है, देखिये: आदर्श रिपोर्ट स्वरूप. तो यह है विषय जो भिन्न रिपोर्ट में होने चाहिए. आखिरकार, हम कुछ सुझाव ओर सलाह पर चलते है अच्छी रिपोर्ट लिखने के लिए. रिपोर्ट अच्छी कहलाय्गी जब (१) वोह पड़ी जाए, ओर (२) उए पर काम किया जाए. अच्छी रिपोर्ट कैसे लिखते है? देखे बेहतर रिपोर्ट. ––»«––समुदाय प्रशिक्षण की निगरानी: © कॉपीराइट १९६७, १९८७, २००७ फिल बार्टले
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